रेलवे के चौतरफा ब्लॉक से हजारों यात्री जहां परेशान हो रहे है, वहीं पितरों के मोक्ष पर भी रेलवे प्रशासन ने बाधा डाल दिया है. दरअसल, ब्लॉक के चलता बिहार के गया और प्रयागराज (इलाहाबाद) जाने वाली सभी ट्रेनें रद्द होने से हजारों लोग परेशान हैं. ऐसे हालात में मजबूरी में सात सौ किलोमीटर का सड़क मार्ग से टैक्सी या खुद की कार से लोग जाने को विवश है. अब तक विभिन्न सेक्शनों में चल रहे रेलवे ट्रैक, तीसरी लाइन को जोड़ने के काम के चलते सौ से अधिक ट्रेनें रद्द की जा चुकी है और यह सिलसिला अब भी जारी है.
रविवार को पटना, सिकंदराबाद, हैदराबाद, रक्सौल और दरभंगा जाने वाली पांच स्पेशल ट्रेनों के रद होने से और परेशानी बढ़ गई है. आलम यह है कि आम यात्रियों के लिए किसी भी ट्रेन में सफर करना आसान नहीं रहा.
अमरकंटक एक्सप्रेस और बरौनी एक्सप्रेस को पकड़ने के लिए रायपुर, बिलासपुर तक के यात्रियों को दुर्ग और गोंदिया स्टेशन तक भागदौड़ करने मजबूर होना पड़ रहा है, क्योंकि इन दोनों ट्रेनों का मार्ग बदला हुआ है. वहीं न्यू कटनी सेक्शन में ब्लाक के कारण सारनाथ, नौतनवा रद है तो दुर्ग साउथ बिहार, हैदराबाद-दरभंगा एक्सप्रेस, बिलासपुर-पटना जाने और आने वाली सभी ट्रेनें भी रद्द की जा चुकी हैं. ऐसे हालात में यात्रियों के सामने दोहरी मुसीबत आ गई है.
झांसी स्टेशन के ब्लॉक में फंसे होने के कारण रद्द की गई छत्तीसगढ़, संपर्क क्रांति, गोंडवाना एक्सप्रेस जैसी ट्रेनें पटरी पर चलना शुरू हुई तो इधर रेलवे ने न्यू कटनी, मुख्य हावड़ा-मुंबई रेल लाइन पर झारसुगुड़ा और चक्रधरपुर रेलवे में दो अक्टूबर से 18 अक्टूबर के बीच ब्लॉक घोषित कर रखा है, जबकि जोधपुर रेलवे में 29 से 31 अक्टूबर तक होने के कारण रायपुर होकर पुरी आने-जाने वाली कई पहले से ट्रेनें रद्द हैं. अभी बिलासपुर रेलवे के सभी सेक्शनों में पटरी और सेक्शन मरम्मत के लिए 16 पैसेंजर ट्रेनें 16 सितंबर से लगातार रद्द हैं. इसलिए न तो लोकल ट्रेनों के और न ही एक्सप्रेस ट्रेनों के यात्रियों की मुसीबत कम हो रही है.
उत्तर पश्चिम जोधपुर रेलवे के फुलेरा यार्ड का आधुनिकीकरण एवं गोविंदी मारवाड़ के बीच दोहरीकरण का काम चलने की वजह से 29 सितंबर से 31 अक्टूबर तक ब्लॉक लिया गया है. इस वजह से दुर्ग से चलने वाली दुर्ग-अजमेर एक्सप्रेस जहां रद्द रही वहीं अजमेर से यह नहीं चली. इसी तरह तीन-चार एक्सप्रेस ट्रेनों को अक्टूबर और नवंबर की कई तारीखों में मार्ग बदलकर चलाया जायेगा. इसमें बिलासपुर-भगत की कोठी ट्रेन शामिल है.
रेलवे के लगातार ब्लॉक लेने के कारण लंबी दूरी की एक्सप्रेस ट्रेनों का परिचालन इन दिनों पूरी तरह से गड़बड़ाया हुआ है. न तो ट्रेनें समय पर चल पा रही हैं न ही रद ट्रेनें पटरी पर लौट पा रही हैं. हजारों की संख्या में यात्रियों के टिकट रद्द किए जा रहे हैं. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि केवल रायपुर रेलवे के रिजर्वेशन काउंटरों से अब तक 70 लाख रुपए से ज्यादा के रिफंड करने पड़े है.
दुर्ग से छपरा के बीच चलने वाली सारनाथ एक्सप्रेस के पहिए पिछले तीन दिनों से दुर्ग स्टेशन में थम गए है. यह ट्रेन चार अक्टूबर तक रद्द है. इसी तरह मंगलवार तीन अक्टूबर को दुर्ग से चलने वाली ट्रेन नंबर 18203 दुर्ग-कानपुर बेतवा एक्सप्रेस और बुधवार चार अक्टूबर को कानपुर तरफ से यह ट्रेन रद रहेगी. गरीब रथ एक्सप्रेस सोमवार को लखनऊ तरफ से नहीं चली जबकि मंगलवार को रायपुर से नहीं चलेगी. इन ट्रेनों में कंफर्म टिकट दो से तीन महीना पहले कराने पर ही यात्रियों को मिलता है.
दुर्ग से चलने वाली ट्रेन नंबर 12853 दुर्ग-भोपाल अमरकंटक एक्सप्रेस परिवर्तित मार्ग वाया दुर्ग-गोंदिया-नागपुर-इटारसी रेल लाइन से चार अक्टूबर तक चलेगी. इस ट्रेन को पकड़ने के लिए बिलासपुर तक यात्री परेशान हैं. इसी तरह मंगलवार तीन अक्टूबर तक बरौनी से चलने वाली ट्रेन नंबर 15231 बरौनी-गोंदिया एक्सप्रेस परिवर्तित मार्ग वाया कटनी-जबलपुर-कछपुरा-गोंदिया मार्ग से चलाई जा रही है.