दरअसल, रायपुर स्थित शहीद वीर नारायण सिंह इंटरनेशनल स्टेडियम को राज्य सरकार ने बनवाया है. इसके प्रबंधन में राज्य के कई विभागों का दखल है. इसके चलते कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. अब बिलासपुर में बनने वाला स्टेडियम पूरी तरह से BCCI की ओर से संचालित होगा.
2016 में छत्तीसगढ़ स्टेट क्रिकेट संघ को स्थायी सदस्यता और रणजी की मान्यता मिली, तब से बिलासपुर को क्रिकेट में मौके बढ़ने की उम्मीद जगी थी. स्टेडियम बनने के बाद देश के नक्शे में BCCI का एक और इंटरनेशनल स्टेडियम बिलासपुर में नजर आएगा.
क्रिकेट संघ बिलासपुर के सचिव विंटेश अग्रवाल ने बताया कि स्टेडियम बनाने की स्वीकृति मिलने के बाद शहर के आसपास जमीन खोजने की प्रक्रिया चल रही है. भूमि का चयन होने के बाद खरीदी की प्रक्रिया पूरी होगी. इससे यहां की क्रिकेट प्रतिभाओं को स्तरीय प्लेटफार्म मिल सकेगा.
सचिव अग्रवाल ने बताया कि स्टेडियम बनने के बाद जिले का खेल इन्फ्रास्ट्रक्चर बढ़ेगा. इन बातों को ध्यान में रखते हुए प्रशासन स्तर पर भी जमीन के लिए सहयोग मांगा गया है. यदि शासन स्तर पर सहयोग मिलता है तो यह स्टेडियम जल्द ही आकार लेने लगेगा.
केवल मैदान और उसके पवेलियन व अन्य सुविधाओं के लिए 15 से 20 एकड़ जमीन या उससे ज्यादा जमीन चाहिए होगी. जमीन खोजने का काम तेजी से किया जा रहा है. जमीन मिलने के बाद स्टेडियम का निर्माण और सुविधाओं का विस्तार किया जाएगा.
जमीन के लिए ये रहेंगी शर्तें
- जमीन नए मास्टर प्लान से बाहर होनी चाहिए.
- आवासीय, इंडस्ट्रियल और कमर्शियल जमीन नहीं होनी चाहिए.
- भूखंड पर हाईटेंशन तार, नहर, नाला, धार्मिक स्थल और समाधि-कब्र आदि न रहे.
- किसी तरह की विवादित भूमि नहीं होनी चाहिए.
- जमीन किसी बैंक या अन्य संस्थानों में गिरवी नहीं होनी चाहिए.
स्टेडियम के लिए मैदान को बड़ा बनाया जाएगा, ताकि इसमें स्टेट लेबल, रणजी लेवल, T-20 और टेस्ट मैच हो सकें. मैदान की बाउंड्री 80 से 85 मीटर तक होगी. मैच फॉर्मेट के साथ मैदान की बाउंड्री को छोटा-बड़ा किया जाएगा, जैसे कि एक इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम में सुविधा रहती है.
छत्तीसगढ़ का दूसरा इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम बिलासपुर में बनेगा. स्टेट क्रिकेट संघ के प्रस्ताव को BCCI ने मंजूरी दे दी है. स्टेडियम के लिए जगह तलाशने के निर्देश क्रिकेट संघ को दिए गए हैं. खास बात यह है कि प्रदेश में BCCI का यह पहला स्टेडियम होगा.
दरअसल, रायपुर स्थित शहीद वीर नारायण सिंह इंटरनेशनल स्टेडियम को राज्य सरकार ने बनवाया है. इसके प्रबंधन में राज्य के कई विभागों का दखल है. इसके चलते कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. अब बिलासपुर में बनने वाला स्टेडियम पूरी तरह से BCCI की ओर से संचालित होगा.
2016 में छत्तीसगढ़ स्टेट क्रिकेट संघ को स्थायी सदस्यता और रणजी की मान्यता मिली, तब से बिलासपुर को क्रिकेट में मौके बढ़ने की उम्मीद जगी थी. स्टेडियम बनने के बाद देश के नक्शे में BCCI का एक और इंटरनेशनल स्टेडियम बिलासपुर में नजर आएगा.
क्रिकेट संघ बिलासपुर के सचिव विंटेश अग्रवाल ने बताया कि स्टेडियम बनाने की स्वीकृति मिलने के बाद शहर के आसपास जमीन खोजने की प्रक्रिया चल रही है. भूमि का चयन होने के बाद खरीदी की प्रक्रिया पूरी होगी. इससे यहां की क्रिकेट प्रतिभाओं को स्तरीय प्लेटफार्म मिल सकेगा.
सचिव अग्रवाल ने बताया कि स्टेडियम बनने के बाद जिले का खेल इन्फ्रास्ट्रक्चर बढ़ेगा. इन बातों को ध्यान में रखते हुए प्रशासन स्तर पर भी जमीन के लिए सहयोग मांगा गया है. यदि शासन स्तर पर सहयोग मिलता है तो यह स्टेडियम जल्द ही आकार लेने लगेगा.
केवल मैदान और उसके पवेलियन व अन्य सुविधाओं के लिए 15 से 20 एकड़ जमीन या उससे ज्यादा जमीन चाहिए होगी. जमीन खोजने का काम तेजी से किया जा रहा है. जमीन मिलने के बाद स्टेडियम का निर्माण और सुविधाओं का विस्तार किया जाएगा.
जमीन के लिए ये रहेंगी शर्तें
- जमीन नए मास्टर प्लान से बाहर होनी चाहिए.
- आवासीय, इंडस्ट्रियल और कमर्शियल जमीन नहीं होनी चाहिए.
- भूखंड पर हाईटेंशन तार, नहर, नाला, धार्मिक स्थल और समाधि-कब्र आदि न रहे.
- किसी तरह की विवादित भूमि नहीं होनी चाहिए.
- जमीन किसी बैंक या अन्य संस्थानों में गिरवी नहीं होनी चाहिए.
स्टेडियम के लिए मैदान को बड़ा बनाया जाएगा, ताकि इसमें स्टेट लेबल, रणजी लेवल, T-20 और टेस्ट मैच हो सकें. मैदान की बाउंड्री 80 से 85 मीटर तक होगी. मैच फॉर्मेट के साथ मैदान की बाउंड्री को छोटा-बड़ा किया जाएगा, जैसे कि एक इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम में सुविधा रहती है.