छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने हवाला कारोबारी अनिल दम्मानी को 8 हफ्ते के लिए अंतरिम जमानत दी है. ऑनलाइन महादेव सट्टा ऐप केस में हाईकोर्ट से रेगुलर बेल खारिज होने के बाद अनिल दम्मानी ने मेडिकल ग्राउंड पर अंतरिम जमानत के लिए याचिका दायर की थी, जिसे मंजूर करते हुए हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने कड़ी शर्तों के साथ रिहा करने का आदेश दिया है.
इस दौरान अनिल को केस के गवाहों से नहीं मिलने, मीडिया में बयान नहीं देने और ₹1 लाख बॉन्ड भरने जैसी शर्तों का पालन करना होगा. साथ ही 12 अप्रैल की शाम 4 बजे सरेंडर करना होगा. ED ने महादेव सट्टा ऐप केस के आरोपियों से पूछताछ के लिए 2 बार कोर्ट से रिमांड लिया था.
स्पेशल कोर्ट से जमानत अर्जी खारिज होने के बाद दम्मानी भाइयों ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी. करीब एक माह पहले जस्टिस एनके चंद्रवंशी की सिंगल बेंच ने दोनों भाइयों की जमानत याचिका को खारिज कर दी थी.
इस बार अनिल दम्मानी ने अंतरिम जमानत याचिका दायर की, जिसमें उसके वकील ने मेडिकल ग्राउंड पर बेल देने का आग्रह किया. इस दौरान कोर्ट को बताया गया कि 12 साल पहले अनिल दम्मानी का एक्सीडेंट हुआ था, जिससे उसके शरीर पर कई जगह चोट लगी थी.
इसकी वजह से उसे कई जगहों पर इंप्लांट्स करवाने पड़े. अब उनमें से एक इंप्लांट को निकलवाने की जरूरत पड़ गई है. क्योंकि, उसमें खून का प्रवाह बंद हो गया है. इसके साथ ही उसे डायबिटीज भी है, जिसके कारण जेल हॉस्पिटल और जिला हॉस्पिटल में भी भर्ती रहना पड़ा था.
*कड़ी शर्तों के साथ जमानत अर्जी मंजूर*
• हाईकोर्ट ने दलीलें सुनने के बाद दम्मानी की बेल पिटिशन को कड़ी शर्तों के साथ मंजूरी दे दी है. हाईकोर्ट ने कहा है कि जेल से बाहर आने के बाद वह केस के किसी भी गवाह से नहीं मिलेगा.
• बिना कोर्ट को सूचना दिए छत्तीसगढ़ से बाहर जाने की अनुमति नहीं मिलेगी. अगर, ऐसा हुआ तो बेल खारिज कर दी जाएगी.
• इलाज के बाद दम्मानी को कोर्ट में मेडिकल और इलाज से संबंधित सभी दस्तावेज पेश करने होंगे.
• बेल अवधि के दौरान इस केस से जुड़े मामलों पर दम्मानी के मीडिया में बात करने करने और बयान देने की मनाही रहेगी.
• इलाज के बाद बेल की शर्तों के अनुसार 8 हफ्ते बाद 12 अप्रैल की शाम 4 बजे कोर्ट में सरेंडर करना होगा.
• जमानत के लिए हवाला कारोबारी को ₹1 लाख का बॉन्ड भरना होगा.
हवाला कारोबारी दम्मानी बंधु पर आरोप है कि उन्होंने महादेव सट्टा ऐप मामले में बड़े स्तर पर पैसों की हेराफेरी की है. दोनों भाइयों ने हवाला के जरिए रुपए विदेश से लेकर छत्तीसगढ़ में रसूखदार नेताओं और अफसरों तक भी पहुंचाए हैं. ED ने कहा था कि जमानत देने से जांच में सीधा असर पड़ेगा.
ED की टीम ने 23 अगस्त 2023 को रायपुर और दुर्ग में छापेमारी कर अनिल और सुनील दम्मानी समेत ASI चंद्रभूषण वर्मा, सतीश चंद्राकर को गिरफ्तार किया था. इसके बाद दोनों भाइयों ने रायपुर स्थित ED की विशेष अदालत में जमानत के लिए अर्जी लगाई थी. हालांकि कोर्ट ने अर्जी को खारिज कर दिया था.
इस केस में अब तक किसी को भी जमानत नहीं मिल पाई है. मेडिकल ग्राउंड पर जमानत पाने वाला अनिल दम्मानी पहला आरोपी है.