UAE में आयोजित अंतरराष्ट्रीय कराटे प्रतियोगिता में देश और प्रदेश का नाम रोशन कर स्नेहा बंजारे गुरुवार को सुबह 11 बजे कोरबा वापस लौंटी. छत्तीसगढ़ पहुंचने पर सीएम विष्णुदेव साय ने स्नेहा बंजारे से मुलाकात कर उसकी प्रंशसा की और भविष्य के लिए बधाई दी. वहीं घर वापसी पर जिले वासियों ने जोरदार स्वागत किया.
कोरबा शहर की स्नेहा बंजारे ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर UAE में आयोजित विश्व कराते चैंपियनशिप 2024 में सिल्वर मेडल हासिल किया है. स्नेहा बंजारे ने सीनियर वर्ग में -68 किग्रा में मेडल हासिल किया है. स्नेहा बंजारे ने लगातार 11 अलग-अलग देशों से जीतकर फाइनल राउंड में जगह बनाई और फाइनल राउंड इजिप्ट देश के साथ लड़कर सिल्वर मेडल का ख़िताब अपने नाम किया.
स्नेहा ने बताया कि फाइनल में उसका मुकाबला इजिप्ट के खिलाड़ी से हुआ था और उसे जीत हासिल हुई. वह थोड़ी और कोशिश करती तो गोल्ड भी ला सकती थी. स्नेहा ने बताया कि उसके पिता सियाराम और बड़े भाई कराते के खिलाड़ी हैं जिनके मार्गदर्शन में आज वो यहां तक पहुंची है. आगे भी वो देश के लिए खेलना चाहती है और भारत का नाम रौशन करना चाहती है.
बिलासपुर विश्वविद्यालय से फिजिकल एजुकेशन की पढ़ाई कर रही स्नेहा ने बताया कि उसके पिता और भाई की प्रेरणा शुरू से मिलती रहे हैं जिसके कारण वह सफलता के इस स्थान पर है.
इस प्रतियोगिता में विश्व के अमेरिका, इंग्लैंड, रुस, जॉर्डन समेत 84 देशों ने हिस्सा लिया और भारत देश से 49 खिलाड़ियों का चयन किया गया था. इसमें छत्तीसगढ़ से एकमात्र महिला खिलाड़ी स्नेहा बंजारे का सिलेक्शन हुआ था.
स्नेहा एक सामान्य परिवार में पली बढ़ी है. बचपन से लगातार कराते में अभ्यासरत है. 4 वर्ष की उम्र से खेल की तरफ रुझान रखने वाली स्नेहा अभी मास्टर ऑफ फिजिकल एजुकेशन की छात्रा है. स्नेहा वर्तमान मे गुरु घसीदास यूनिवर्सिटी में एम.पी.एड. फाइनल ईयर की छात्रा है.
साल 2023 में गुरुघासीदास विश्वविद्यालय की ओर से खेलते हुए स्नेहा बंजारे ने ऑल इंडिया यूनिवर्सिटी में ऐतिहासिक जीत दर्ज कर रजत पदक प्राप्त कर कराते में छत्तीसगढ़ और GGU को पहला मेडल दिलाया था.
साल 2023 में हुए एशियन कराते प्रतियोगिता के सिलेक्शन में छत्तीसगढ़ से पहली महिला खिलाड़ी स्नेहा बंजारे रही है. साथ ही कई राष्ट्रीय कराते प्रतियोगिता में गोल्ड और सिल्वर मेडल प्राप्त का ज़िले और प्रदेश का नाम रौशन कर चुकी है. स्कूल पढ़ाई के दौरान SGFI में भी DAV स्कूल से खेलते हुए भी मेडलिस्ट रही है.