बिलासपुर से शुरू हुई हवाई सेवा 29 फरवरी के बाद भी जारी रहेगी. हालांकि उड़ानों का RCS (क्षेत्रीय संपर्क योजना) एग्रीमेंट 29 फरवरी को खत्म हो रहा है. इसके चलते कमर्शियल फ्लाइट के रूप में जबलपुर और प्रयागराज का किराया बढ़ने की संभावना है. वहीं, बिलासपुर से सीधे दिल्ली, हैदराबाद और कोलकाता की नई उड़ानों के लिए राज्य शासन से प्रति टिकट सब्सिडी मांगी गई है.
इस प्रस्ताव पर राज्य सरकार विचार कर रही है. हवाई सुविधाओं के विस्तार को लेकर दायर जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान अलायंस एयर कंपनी ने बिलासपुर हाईकोर्ट को यह जानकारी दी. डिवीजन बेंच ने कहा है कि केंद्र सरकार एयरपोर्ट की जमीन पर होने वाले विकास कार्यों के लिए 15 दिन के भीतर अनुमति देने का फैसला करे.
हाईकोर्ट के सीनियर जस्टिस गौतम भादुड़ी और जस्टिस राधाकिशन अग्रवाल की डिवीजन बेंच में हवाई सुविधाओं के विस्तार के लिए लगी जनहित याचिकाओं पर 2 चरणों में सुनवाई हुई. राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता राजकुमार गुप्ता ने पेंडिंग कामों का तकनीकी विवरण देने के लिए अधिकारियों की उपस्थिति का आग्रह किया.
जिस पर हाईकोर्ट ने विमानन विभाग, PWD और अलायंस एयर के संबंधित अफसरों को बुलाने की मंजूरी देते हुए सुनवाई 15 फरवरी तक के लिए स्थगित कर दी.
इसके बाद दोपहर 2:15 बजे मामले की सुनवाई फिर से शुरू हुई. अलायंस एयर कंपनी के अफसरों ने बताया कि 29 फरवरी के बाद भी वर्तमान में चल रही उड़ानें जारी रहेंगी. उन्होंने बताया कि जबलपुर और प्रयागराज से होकर दिल्ली की उड़ानें चलती रहेंगी. उन्हें कमर्शियल फ्लाइट के रूप में आगे भी चलाया जाएगा.
एयरपोर्ट पर बाउंड्रीवॉल निर्माण में हो रही देरी पर हाईकोर्ट ने सख्ती दिखाई. PWD के अधिकारी से काम की गुणवत्ता में बिना समझौता किए उसे जल्द पूरा करने की संभावनाओं के बारे में पूछा. इसके जवाब में PWD के ईई चंद्र किशोर पांडेय ने बाउंड्रीवॉल को 15-20 दिन में पूरा करने का दावा किया. इसके अलावा दूसरे कामों को भी जल्द से जल्द पूरा करने का भरोसा दिलाया.
राज्य सरकार ने अपनी स्टेटस रिपोर्ट में बताया कि बिलासपुर एयरपोर्ट के रनवे विस्तार और फोर सी एयरपोर्ट पर निर्माण के लिए जमीन 287 एकड़ का संशोधित और वास्तविक प्रस्ताव केन्द्र सरकार को 17 जनवरी को ही भेज दिया है. इस पर काम करने की अनुमति और इस जमीन के हस्तांतरण का काम केन्द्र सरकार को करना है.
राज्य सरकार ने अगस्त में 90 करोड़ रुपए की राशि भी केन्द्र को इस जमीन के बदले में दे दी है. इस पर हाईकोर्ट ने केन्द्र सरकार को 15 दिन के अंदर राज्य सरकार के इस प्रस्ताव पर फैसला लेने और जमीन पर काम शुरू करने को कहा है.
सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ताओं की ओर से एडवोकेट आशीष श्रीवास्तव, केन्द्र सरकार की ओर से रमाकांत मिश्रा, अलायंस एयर की ओर से शोभित कोष्टा मौजूद रहे. हाईकोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई एक मार्च को तय की है. इसी दिन 3 साल पहले एयरपोर्ट से उड़ानें शुरू हुई थीं.