छत्तीसगढ़ के प्रवासी मजदूरों के बच्चे जल्द ही प्राइवेट स्कूल में पढ़ सकेंगे. साय सरकार जल्द ही इसे लेकर एक योजना तैयार करने वाली है. जिसके बाद इस योजना का लाभ प्रदेश भर के प्रवासी मजदूर के बच्चे ले सकेंगे. साथ ही बिलासपुर में 100 बिस्तरों का अस्पताल तैयार किया जाएगा.
दरअसल, विधानसभा में आज वाणिज्य और उद्योग, श्रम मंत्रालय के विभागों के अनुदान पर चर्चा के बाद पारित किया गया. मंत्री लखन लाल देवांगन के विभागों से संबंधित 773 करोड़ 28 लाख 42 हजार रुपए पारित किए गए हैं.
छत्तीसगढ़ के मजदूरों के लिए उत्तर प्रदेश, तेलंगाना, ओडिशा, गुजरात और महाराष्ट्र जहां अधिक मजदूर जाते हैं, वहां मोर चिन्हारी भवन बनाए जाएंगे. इसके जरिए मजदूर और उनके परिवारों को समय-समय पर जरुरी सहायता दी जाएगी.
कर्मचारी राज्य बीमा निगम अब बिलासपुर में भी 100 बिस्तरों का अस्पताल तैयार होगा, जहां मजदूरों को इलाज मिल सकेंगे. इससे पहले रायपुर और कोरबा में 100-100 बिस्तरों का हॉस्पिटल बनाया गया है. तिल्दा, उरला, लारा और खरसिया में भी डिस्पेंसरी खोलने का काम चल रहा है.
शहीद वीर नारायण सिंह श्रम अन्न योजना के तहत मजदूरों को 5 रुपए में गरम और पूरा खाना देने के लिए चलाई जाती है. उसमें और विस्तार किया जाएगा. इस योजना के जरिए अब तक प्रदेश के सात जिले रायपुर, दुर्ग, राजनांदगांव, बिलासपुर, रायगढ़, महासमुन्द और सूरजपुर में कुल 21 केंद्र चलाए जा रहे. जिसे बढ़ाकर 9 जिलों में 24 नए केन्द्र खोले जाने की मंजूरी मिली है.
अटल श्रम सशक्तिकरण योजना के जरिए असंगठित श्रमिकों को योजनाओं का लाभ एक ही जगह मिल सके इसके लिए शासन द्वारा श्रमेव जयते वेबपोर्टल बनाया जा रहा है.