छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखा है. यह पत्र छत्तीसगढ़ में पेंशनर्स को 42 फीसदी महंगाई राहत देने के लिए लिखा गया है. इसके लिए सीएम शिवराज सिंह चौहान से अधिकारियों को निर्देशित करने का आग्रह भी किया गया है.
पत्र में मध्यप्रदेश पुनर्गठन अधिनियम 2000 के धारा 49 (6) के तहत महंगाई राहत के भुगतान के लिए मध्यप्रदेश की सहमति मांगी गई है. ताकि सहमति मिलते ही छत्तीसगढ़ के पेंशनर्स को 42% महंगाई भत्ते दिए जाने की कार्रवाई की जा सके.
मुख्यमंत्री ने अपने पत्र में लिखा है कि छत्तीसगढ़ के पेंशनर्स को महंगाई राहत देने के लिए छत्तीसगढ़ के वित्त विभाग ने 2 अगस्त को मध्यप्रदेश शासन को पत्र लिखा था. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सेवानिवृत्त शासकीय अधिकारी-कर्मचारियों को 42% महंगाई राहत 1 जुलाई 2023 से प्रदान करने का फैसला लिया है. इस निर्णय को पूरा करने के लिए दोनों राज्यों के मध्य पेंशन पर महंगाई राहत के भुगतान के लिए सहमति आवश्यक होती है.
पेंशनर संगठनों की ओर से महंगाई राहत की दर 42% करने की मांग लगातार की जा रही है. छत्तीसगढ़ शासन ने दावा किया है कि जैसे ही मध्यप्रदेश की सहमति मिलेगी. वैसे ही राहत प्रदान करने की दिशा में कार्रवाई होगी.
मध्यप्रदेश पुनर्गठन अधिनियम, 2000 भारत की संसद का एक अधिनियम है. जिसने मध्य प्रदेश से बाहर छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माण को सक्षम बनाया. वाजपेयी के नेतृत्व वाली NDA सरकार ने कानून पेश किया था. इसके तहत कई फैसलों के लिए दोनों राज्यों को सहमति बनानी पड़ती है. इसी के तहत महंगाई राहत के भुगतान के लिए सहमति जरूरी जिसके लिए सीएम भूपेश ने पत्र लिखा है.