छत्तीसगढ़ के आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने कहा है कि प्रदेश में दारू बंद करना एक बड़ी बेवकूफी होगी. हालांकि इसे उन्होंने निजी राय बताया. लखमा ने कहा कि जब तक मैं सरकार में हूं तब तक शराबबंदी नहीं होने दूंगा क्योंकि बिलासपुर और रायपुर में शराब के अभाव में नशीला पदार्थ पीकर 6-6 लोगों की मौत हुई है. हम नहीं चाहते हैं कि पूरे प्रदेश में भी ऐसे हालात बने.
आबकारी मंत्री रविवार को जगदलपुर पहुंचे थे. इसी दौरान उन्होंने कहा कि पूरे हिंदुस्तान में दारू बंद नहीं हो सकती. आंध्र-तेलंगाना हो या उत्तर भारत के प्रदेश, कोई भी शराब बंद करवाना नहीं चाहता. बस्तर के लोग दारू कम पीते हैं, लेकिन हर तरह के रीति-रिवाज में दारू की परंपरा है.
लखमा ने कहा कि बस्तर में दारू पीने से किसी की मौत नहीं हुई है. बस्तर में 5वीं अनुसूची लागू है. सरकार भी कुछ नहीं कर सकती. जो फैसला होता है वो ग्राम सभा लेती है. इसलिए प्रदेश सरकार शराबबंदी नहीं करेगी.
आबकारी मंत्री ने प्रदेश में शराबबंदी को लेकर पहली बार ऐसा बयान नहीं दिया है बल्कि इस तरह का बयान वो पहले भी कई बार दे चुके हैं. उन्होंने कहा था कि चाहे कुछ भी हो जाए प्रदेश में सरकार शराब बंद नहीं करेगी. इसकी बड़ी वजह उन्होंने कोरोना काल में शराब के अभाव में नशीली दवा पीकर लोगों की मौत होना बताया था.
हालांकि, BJP लगातार प्रदेश सरकार की मंशा पर सवाल खड़े कर रही है. घोषणा पत्र में कांग्रेस ने तो शराबबंदी का वादा किया था, लेकिन सरकार बनने के बाद अब इन वादों पर अमल क्यों नहीं किया जा रहा है ? कुछ ही दिनों के बाद छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव होने हैं. ऐसे में शराबबंदी का मुद्दा फिर गरमाया गया है.