छत्तीसगढ़ में तेजी से आंखों की बीमारी कंजक्टिवाइटिस के मरीज बढ़ते जा रहे हैं. वहीं दुर्ग जिले में भी इस बीमारी से लगभग 4500 से अधिक लोग प्रभावित हैं, जिसके बाद अब जिला प्रशासन अलर्ट मोड पर है. कंजक्टिवाइटिस को लेकर दुर्ग जिला अस्पताल में नेत्र रोग विभाग में विशेष तैयारियां की गई है.
दुर्ग जिला अस्पताल में ही अब तक लगभग 1500 से अधिक मरीज पहुंच चुके हैं. दुर्ग CMHO डॉक्टर जेपी मेश्राम ने सभी डॉक्टरों को बीमारी से बचाव के उपाय लोगों को बताने एवं उचित उपचार उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं.
दरअसल, छत्तीसगढ़ में अब तक 20,000 से अधिक लोग कंजक्टिवाइटिस से प्रभावित हो चुके हैं. इस आई फ्लू की बीमारी में प्राथमिक तौर पर आंखों में चुभन एवं आंखों का लाल रंग का दिखना, इसका प्राथमिक लक्षण है, लेकिन यह बीमारी एक वायरस के रूप में लोगों में फैलती जा रही है. रोकने के लिए अब प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जिला अस्पताल पर नेत्र रोग विशेषज्ञ को तैनात किया जा रहा है.
जिला अस्पताल के सिविल सर्जन वाईके साहू ने बताया कि इस बीमारी से बचने के लिए लोग अपने आंखों की सिकाई ठंडे पानी से करें, यह एक सेल्फ डीएक्टिव डिसीस है, जो 5 से 6 दिनों में स्वयं ठीक हो जाती है, लेकिन इससे बचाब ही इसका इलाज है. ऐसे लोगो से हांथ ना मिलाएं, जो इस आई फ्लू से पीड़ित हैं. वे हाथ को साफ रखें और आंखों में एंटीबायोटिक आई ड्राप का इस्तेमाल करें, जिससे यह पूरी तरह ठीक हो जाता है.