दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे जोन के अंतर्गत रेलवे के सभी मकानों और दुकानों में स्मार्ट प्री-पैड बिजली के मीटर लगाए जाएंगे. मोबाइल की तरह पहले रिचार्ज करना होगा. इसके बाद बिजली मिलेगी. बिलासपुर डिवीजन से इसकी शुरुआत हो चुकी है. रेलवे स्टेशन के सभी स्टॉल व बुधवारी बाजार के करीब 1100 कमर्शियल कनेक्शन के लिए प्री-पैड मीटर लगाए जा रहे हैं. अब तक 600 मीटर लगाए जा चुके हैं.
स्मार्ट मीटर लगने के बाद उपभोक्ता अपनी जरूरत के हिसाब से रिचार्ज कर बिजली का इस्तेमाल कर सकेंगे. रेलवे को भी मीटरों की रीडिंग और कनेक्शनों की मॉनिटरिंग नहीं करानी पड़ेगी. इससे बिजली चोरी भी रुकेगी. बालको भारत एल्युमिनियम परिक्षेत्र के बाद रेलवे दूसरा ऐसा उपक्रम है, जो स्मार्ट मीटर लगा रहा है. रायपुर और नागपुर डिवीजन में भी यह काम जल्द शुरू होगा.
अभी रेलवे नो प्रॉफिट-नो लॉस के तहत सीएसईबी से ₹8.92 प्रति यूनिट की दर से बिजली खरीद रहा है. कमर्शियल कनेक्शन से प्रति यूनिट ₹12.5 तो घरेलू कनेक्शनों पर 10 पैसे सेस जोड़कर 4.10 रुपए से अधिकतम खपत 600 यूनिट से अधिक पर ₹8.63 प्रति यूनिट चार्ज कर रहा है.
जोन के सभी रेलवे क्वार्टर में भी स्मार्ट मीटर लगाए जाएंगे, लेकिन कर्मचारियों को बिल भुगतान के लिए प्रीपेड और पोस्टपेड दोनों तरह का विकल्प दिया जाएगा. प्री पैड वाले स्वयं अपना मीटर रिचार्ज कर सकेंगे. वहीं पोस्ट पैड सेवा से जुड़े कर्मचारियों के घरों की रीडिंग प्रत्येक सौ मीटर में लगे टॉवर की सहायता की जाएगी.
रेलवे के सभी बिजली उपभोक्ता गूगल-पे, फोन-पे और पेटीएम जैसे पेमेंट गेटवे ये रिचार्ज कर सकेंगे. इस पर अभी काम चल रहा है. यह सुविधा थोड़े समय बाद मिलेगी. अभी मीटर रिचार्ज के लिए उपभोक्ताओं को DRM कार्यालय के पीछे एनर्जी बिल सेक्शन में चालान जमा कर अपना मीटर रिचार्ज कराना पड़ रहा है.
बिलासपुर जोन के CPRO साकेत रंजन ने बताया कि स्मार्ट मीटर रेलवे और उससे जुड़े कर्मचारी व व्यापारी सभी के लिए फायदेमंद है. इससे रेलवे को रीडिंग आदि कार्य नहीं करने पड़ेंगे. वहीं कर्मचारी व व्यापारियों को बिल भुगतान करने की समस्या से छुटकारा मिलेगा. वे घर बैठे ही अपना मीटर रिचार्ज कर सकेंगे.